गैटोर की छतरियों के पास गहरी बावड़ी - Kadamb Kund Baori Jaipur in Hindi, इसमें गैटोर की छतरियों के पीछे स्थित गहरी कदंब कुंड बावड़ी की जानकारी दी गई है।
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जयपुर के दर्शनीय स्थलों में आज हम आपको लेकर चलते हैं एक ऐसे स्थान पर जो ऐतिहासिक और रमणीक स्थल होने के साथ-साथ हमारी दैनिक जीवन की सबसे बड़ी जरूरत पानी से सम्बंधित है।
इस स्थान को कदम्ब कुंड या कदम्ब बावड़ी के नाम से जाना जाता है। कदम्ब कुंड की लोकेशन के सम्बन्ध में अगर बात की जाए तो यह गैटोर की छतरियों के पीछे की तरफ थोड़ा आगे जाकर स्थित है।
चारों तरफ घने पेड़ों से घिरा हुआ यह स्थान तीन तरफ से पहाड़ों से घिरा हुआ है। यहाँ से पहाड़ों की तरफ जिधर भी देखो दूर-दूर तक प्राकृतिक सौन्दर्य ही नजर आता है।
बारिश के दिनों में इन पहाड़ों में जगह-जगह झरने बहने लग जाते हैं जिनका पानी इस कदम्ब कुंड से गुजरकर आगे संभवतः जल महल में जाता है।
कदम्ब कुंड में छोटे बड़े तीन कुंड बने हुए हैं। ये तीनों कुंड एक रेखा में एक दूसरे से इस प्रकार अलग बने हुए हैं कि पहला कुंड भरने के बाद में दूसरा कुंड भरता है, दूसरे के बाद में तीसरा एवं तीसरे के बाद में पानी बहकर आगे चला जाता है।
तीसरा कुंड आकार में छोटा है और इसके किनारों पर पानी को नापने का पैमाना बना हुआ है। इस पैमाने से वाटर लेवल को चेक किया जा सकता है।
अगर कुंड के निर्माण के सम्बन्ध में बात की जाए तो निश्चित रूप से इनका निर्माण रियासत काल में ही हुआ है और संभवतः एक या दो शताब्दी पहले का प्रतीत होता है।
मुख्यमंत्री जल स्वावलंबन योजना के अंतर्गत इसकी साफ़ सफाई की गई थी और इसमें से कचरा और कीचड निकाला गया था।
बारिश के मौसम में जब ये कुंड पूरी तरह भर जाते हैं तब इनकी गहराई का सही से अंदाजा नहीं लग पाता है। दरअसल ये कुंड लगभग 40 फीट तक गहरे हैं।
इतनी अधिक गहराई वाले कुंड में नहाना बहुत रिस्की है। एक दो बार यहाँ पर हादसे भी हो चुके हैं। अतः आपको जब भी यहाँ जाने का मौका मिले तो पानी से दूर रहें।
कुंड के बगल में महामृत्युंजय हनुमान मंदिर बना हुआ है जहाँ पर हनुमानजी की प्रतिमा स्थित है। कुंड से थोड़ा आगे की तरफ कदंब कुंड के हनुमानजी या कदम्ब के बालाजी नामक आश्रम स्थित है।
यहाँ पर प्राचीन शिवलिंग के साथ शिव पंचायत भी स्थित है जिसकी वजह से इसे कदमेश्वर महादेव के नाम से भी जाना जाता है।
कदम्ब कुंड के आसपास अन्य दर्शनीय स्थलों की बात की जाए तो इसके पास में गैटोर की छतरियाँ और पहाड़ी पर गढ़ गणेश नामक गणेशजी का प्राचीन मंदिर स्थित है।
अगर आप गढ़ गणेश या गैटोर की छतरियों के भ्रमण पर जाएँ तो पास ही स्थित कदम्ब कुंड को भी देखा जा सकता है।
कदम्ब कुंड बावड़ी की मैप लोकेशन - Map Location of Kadamb Kund Baori
कदम्ब कुंड बावड़ी का वीडियो - Video of Kadamb Kund Baori
कदम्ब कुंड बावड़ी की फोटो - Photos of Kadamb Kund Baori
लेखक (Writer)
रमेश शर्मा {एम फार्म, एमएससी (कंप्यूटर साइंस), पीजीडीसीए, एमए (इतिहास), सीएचएमएस}
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डिस्क्लेमर (Disclaimer)
इस लेख में शैक्षिक उद्देश्य के लिए दी गई जानकारी विभिन्न ऑनलाइन एवं ऑफलाइन स्रोतों से ली गई है जिनकी सटीकता एवं विश्वसनीयता की गारंटी नहीं है। आलेख की जानकारी को पाठक महज सूचना के तहत ही लें। इसके अतिरिक्त इसके किसी भी उपयोग की जिम्मेदारी स्वयं उपयोगकर्ता की ही रहेगी।